जीना है तो गरजे जग मे हिन्दू हमसब एक
गणगीत gangeet rss
जीना है तो गरजे जग में हिंदू हम सब एक ,
उलझे सुलझे प्रश्नों का है उत्तर केवल एक। । 2
केशव के चिंतन दर्शन से संघटना का मंत्र सिखाया
आजीवन अविराम साधना तिल-तिल कर सर्वस्व चढ़ाया।
एक दीप से जले दूसरा जलते दीप अनेक। ।
जीना है तो गरजे जग में…………………………………….
भाषा भूषा मत वादों की बहुरंगी यह परंपरा
सर्वधर्म समभाव सिखाती ऋषि मुनियों की दिव्य धारा
इंद्र धनुष की छटा स्रोत मैं शुभ्र रंग है एक। ।
जीना है तो गरजे जग में……………………………………..
स्नेह समर्पण त्याग हृदय में , सभी दिशा में लाएंगे
क्षमता की नव जीवन रचना हम सब को अपनाएंगे
आज समय की यही चुनौती भूले भेद अनेक। ।
जीना है तो गरजे जग में……………………………………….
भगीरथ के त्याग तपों से आई भू पर गंगा धारा
संग रुप में वही जाह्नवी माधव ने हे सतत संवारा
हुवे यहीं पर विकसित कितने तट पर तीर्थ अनेक। ।
जीना है तो गरजे जग मे…………………………………….
उलझे सुलझे प्रश्नों का है उत्तर केवल एक। । 2
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